हुंडई ऑटो सर्विस” हुंडई मतलब मोडरन, 1946 चुँग मू कू ने hyunda की शुरवात एक कार गैरेज सी की
।
बिज़नस पुराना था पर नाम नया था चुँग ने कई मुसीबते जलते हुए दुबारा मार्केट में वापसी की थी।
1967 में चुँग ने स्टैब्लिश की हुंडई मोटर कंपनी और 1968 में फोर्ड्स के साथ डील की।
जिसमे वो फोर्ड्स पोरटेना कार को असेंबल करने वाले थे
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दो साल तक ये जॉइंट वेंचर सक्सेस्स्फुल्ली चला, ईसके बाद दोनों कंपनीस के बीच में मत भेद होने लगे।
फोर्ड नहीं चाहता था हुंडई खुद की कार बनाए, इसीलिए 1973 में चुँग ने पार्टनरशिप खत्म कर पार्टनर ढूंढने लगे।
मैन्युफैक्चरिंग टेक्नोलॉजी के लिए चुँग ने कोशिश की
जनरल मोटर्स, फॉक्सवैगन से डील करने की, लेकिन सबने मना कर दिया।
फाइनली उन्होंने जापान की मित्सुबिशी मोटर्स से एग्रीमेंट किया। मित्सुबिशी हुंडई को कार बनाने की टेक्नोलॉजी देने के लिए तैयार हो गया था।
इस डील की सबसे अच्छी बात ये थी की हुंडई इसमे अपनी ब्रांडिंग और अपने दिए नाम के साथ कार बेच सकता था।
उसी दौरान साउथ कोरियन गवर्नमेंट ने कंपनीज के लिए एक आदेश निकाला की उन्हे एक सिटिज़न कार बनानी है।
ऐसी कार जो आफोर्डेबल और रिलाएबल हो और उसमें केवल साउथ कोरिया में बने पार्ट्स हो।
1976 में चुँग ने एक नया प्लांट सेटअप किया और हुंडई ने बनाई साउथ कोरिया की फर्स्ट एवर मास प्रोड्यूस्ड कार अंडर फोनी
अपनी अफोर्डेबिलिटी के कारण ये कार साउथ कोरिया में इतनी सक्सेसफुल हुई के 60% मार्केट शेयर कैप्चर कर लिया
हुंडई पोनी साउथ कोरिया में जितनी बड़ी सक्सेस थी ओवरसीज मार्केट में उतनी ही बड़ी फेल्यर थी
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Poor Korean Boy who built Hyundai No.1
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